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हल्द्वानी: उत्तराखंड के () में रैगिंग (Ragging) से जुड़ा एक मामला सामने आया है। यहां मेडिकल कॉलेज के छात्रों को सिर मुंडवाकर घुमाया गया है। एक वायरल वीडियो में मेडिकल कॉलेज परिसर में 27 से ज्यादा छात्रों का एक ग्रुप लाइन में चलते दिखा। हालांकि प्रिंसिपल ने इस मामले का खंडन किया है। वायरल हुए वीडियो में एक अन्य जगह पर भी करीब 7 स्टूडेंट्स इसी तरह से एक लाइन में चलते नजर आए। सभी छात्र सिर झुकाए हुए चल रहे थे। हैरानी की बात यह है कि सभी छात्रों के सिर गंजे थे। इनमें से कुछ छात्र एप्रन पहने हुए थे और पीठ पर बैग लादकर चल रहे थे। पड़ताल में पता लगा कि यह सभी एमबीबीएस प्रथम वर्ष के छात्र हैं। सूत्रों का कहना है कि इन सभी छात्रों को बाल कटवाने के निर्देश इनके सीनियरों ने दिए हैं। ऐसे में इस पूरे मामले को रैगिंग से जोड़कर देखा जा रहा है। हालांकि, इस मामले में कॉलेज प्रशासन ने अनभिज्ञता जताई है। प्रिंसिपल अरुण जोशी ने रैगिंग की बात को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि इस संबंध में किसी की तरफ से शिकायत नहीं मिली है। उन्होंने हमारे सहयोगी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में कहा, 'इस केस में कोई भी शिकायत दर्ज नहीं कराई गई है। कई बार स्टूडेंट अपने बाल मुंड़ा लेते हैं, जिसका रैगिंग से कोई संबंध नहीं है। कई सारे बच्चे मिलिट्री कट में कॉलेज जॉइन करते हैं। यह कोई असामान्य बात नहीं है।' इस घटना के बारे में स्टूडेंट्स से भी बात करने की कोशिश की गई, लेकिन कोई भी कुछ कहने को तैयार नहीं था। इस मेडिकल कॉलेज में रैगिंग का यह पहला मामला नहीं है। 2019 में जूनियर स्टूडेंट्स की शिकायत के बाद 7 सीनियर स्टूडेंट्स को सस्पेंड कर दिया गया था। हालांकि प्रिंसिपल ने उस घटना को स्टूडेंट्स के बीच विवाद करार दिया था। उससे पहले 2016 में भी फर्स्ट ईयर के एक स्टूडेंट ने यूजीसी में पिटाई की शिकायत की थी। उसने कॉलेज में ऐंटी रैगिंग सेल से इस बारे में कोई शिकायत नहीं दर्ज कराई थी।
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